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संकट में इमरान की कुर्सी: विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव से घबराए पाक पीएम, मिलने पहुंचे सेना प्रमुख बाजवा से

इस्लामाबाद। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान की सत्तारूढ़ पार्टी के करीब दो दर्जन असंतुष्ट सांसदों ने संसद में विपक्ष द्वारा पेश किए गए अविश्वास प्रस्ताव पर उनके खिलाफ वोट करने की खुलेआम धमकी दी है, जिससे सरकार बचाए रखने को लेकर खान की चुनौतियां बढ़ गई हैं। इन सब के बीच अब प्रधानमंत्री इमरान खान ने शुक्रवार को सेना प्रमुख कमर जावेद बाजवा से मुलाकात की। बैठक का उद्देश्य देश में हाल के राजनीतिक अस्थिरता के साथ-साथ पाकिस्तान में आगामी इस्लामिक देशों के संगठन शिखर सम्मेलन पर चर्चा करना था।

दरअसल पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) और पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के लगभग 100 सांसदों ने आठ मार्च को नेशनल असेंबली सचिवालय में एक अविश्वास प्रस्ताव पेश किया था। इसमें आरोप लगाया गया है कि खान के नेतृत्व वाली पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी की सरकार देश में आर्थिक संकट और बढ़ती महंगाई के लिए जिम्मेदार है।

देश में चल रहे राजनीतिक घटनाक्रम के बीच इस बैठक का नतीजा महत्वपूर्ण माना जा रहा है। बैठक का मकसद पाकिस्तान में चल रही राजनीतिक अस्थिरता को एक बार फिर से पटरी पर लाने का है। माना जाता है कि पाकिस्तान में राजनीतिक स्थिरता लाने में सेना का महत्वपूर्ण योगदान होता है। सेना के सहयोग के बिना वहां सरकार चलाना मुश्किल है। बताया जा रहा है कि पीएम इमरान खान द्वारा 11 मार्च को दिए गए भाषण में अपमानजनक टिप्पणी को लेकर सेना प्रमुख नाराज चल रहे हैं।





दरअसल, सेना प्रमुख ने इमरान खान को विपक्षी नेताओं के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी का इस्तेमाल नहीं करने की सलाह दी थी लेकिन इमरान खान ने इसे खारिज कर दिया था। इस मामले पर सफाई देते हुए इमरान खान ने कहा कि मैं सिर्फ जनरल बाजवा से बात कर रहा था और उन्होंने मुझसे फजल को ‘डीजल’ नहीं कहने के लिए कहा था। लेकिन मैं ऐसा नहीं कह रहा हूं। लोगों ने उनका नाम डीजल रखा है। इमरान खान जेयूआई-एफ नेता मौलाना फजलुर रहमान का जिक्र कर रहे थे।

अविश्वास प्रस्ताव के संबंध में नेशनल असेंबली का सत्र 21 मार्च को बुलाया जा सकता है जबकि इस पर सदन में मतदान 28 मार्च को कराये जाने की संभावना है। संयुक्त विपक्ष द्वारा अविश्वास प्रस्ताव पेश किए जाने के बाद सरकार के कुछ सहयोगियों द्वारा निशाना साधे जाने के बीच खान की मुश्किलें गुरुवार को उस वक्त और बढ़ती नजर आई, जब उनकी ही पार्टी के लगभग 24 सांसदों ने विपक्ष के साथ जाने की धमकी दे दी।

असंतुष्ट सांसदों में शामिल राजा रियाज ने कहा कि खान बढ़ती महंगाई को काबू करने में विफल रहे हैं, जबकि एक अन्य सांसद नूर आलम खान ने समा न्यूज को बताया कि उनकी कई शिकायतों पर सरकार में कोई सुनवाई नहीं हुई। रियाज ने कहा, ‘हम उन दो दर्जन से अधिक सदस्यों में शामिल हैं, जो सरकार की नीतियों से खुश नहीं हैं।

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