मुंबई। महाराष्ट्र का चुनावी बिगुल बच चुका है। 20 नवंबर को सभी 288 विधानसभा सीटों पर मतदान होगा। वहीं नामांकन वापसी आज आखिरी दिन है। ऐसे में महायुति और महाविकास आघाड़ी गठबंधन पार्टी के बागी उम्मीदवारों को मनाने की कवायद में जुटे हुए हैं। हालांकि इसमें दलों को सफलता भी मिलती दिख रही है। अब तक मिली जानकारी के अनुसार मान मनौव्वल के बाद तीन बड़े चेहर चुनावी मैदान से पीछे हट गए हैं।
इसमें पहला नाम है भाजपा के पूर्व सांसद गोपाल सेट्टी का। उन्होंने आज सुबह बोरीवली सीट उन्होंने नामाकंन वापस ले लिया है। सूत्रों की मानें तो भाजपा नेता विनोद तावड़े से मीटिंग के बाद शेट्टी ने नामांकन वापसी का फैसला लिया है। शेट्टी ने डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस से भी चर्चा की थी। शेट्टी ने कहा है कि वह पार्टी के अंदर गलत कामकाज का विरोध कर रहे थे। लेकिन जब उन्हें मना लिया गया है तो वह भाजपा उम्मीदवार का समर्थन करेंगे। दरअसल, भाजपा ने बोरीवली सीट से संजय उपाध्याय को टिकट दिया था, जिससे नाराज होकर 29 अक्टूबर को नामांकन के आखिरी दिन गोपाल सेट्टी ने नामांकन दाखिल कर दिया था।
एनकाउंटर स्पेशलिस्ट की पत्नी ने नामांकन लिया वापस
वहीं दूसरा नाम है एनकाउंटर स्पेशलिस्ट प्रदीप शर्मा की पत्नी स्वीकृति शर्मा का है। स्वीकृति ने अंधेरी ईस्ट विधानसभा सीट से निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर पर्चा दाखिल किया था। वह शिवसेना उम्मीदवार मुरजी पटेल को चुनौती देने जा रही थीं। लेकिन अब स्वीकृति ने अपना नामांकन वापस लेने का ऐलान किया है। वहीं इस लिस्ट में तीसरा और सबसे बड़ा नाम मनोज जरांगे पाटिल का है। मनोज ने मराठा समुदाय के लिये आरक्षण की मांग को लेकर लंबे समय तक धरना-प्रदर्शन किया। मनोज ने पहले ऐलान किया था कि वह महायुति सरकार के कई विधायकों के खिलाफ प्रचार करेंगे, लेकिन अब उन्होंने अपने पुराने फैसले को वापस ले लिया है। मनोज ने कहा है कि वह महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में किसी भी उम्मीदवार या पार्टी का समर्थन नहीं करेंगे। इसके साथ ही उन्होंने नामांकन दाखिल करने वाले अपने समर्थकों से उम्मीदवारी वापस लेने के लिये भी कहा है।
उम्मीदवार या किसी दल से कोई संबंध नहीं
मनोज जरांगे ने कहा,’मैं महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में किसी भी उम्मीदवार या पार्टी का समर्थन नहीं करूंगा। मैं अपने समर्थकों से नाम वापस लेने का अनुरोध करता हूं।’ पत्रकारों से बात करते हुए मनोज जरांगे ने कहा,’काफी विचार-विमर्श के बाद मैंने राज्य में कोई भी उम्मीदवार नहीं उतारने का फैसला किया है। मराठा समुदाय खुद तय करेगा कि किसे हराना है और किसे चुनना है। मेरा किसी भी उम्मीदवार या राजनीतिक दल से कोई संबंध या समर्थन नहीं है।’
इस बार छह बड़े दल मैदान में
बता दें कि महाराष्ट्र में 20 नवंबर को चुनाव होने हैं, जबकि सभी 288 सीटों पर मतगणना 23 नवंबर को होगी। नाम वापसी के आखिरी दिन महाविकास अघाड़ी और महायुति अपने-अपने बागी उम्मीदवारों को मनाने में जुटी है। शिवसेना और एनसीपी में टूट के चलते इस बार 6 बड़े दल मैदान में हैं। यही कारण है कि बागी भी ज्यादा हैं। प्रदेश की लगभग हर सीट पर बागी हैं। इस बार 7,995 उम्मीदवारों ने नामांकन किया है।