नई दिल्ली। दिल्ली के लोगों के गुड न्यूज है। दरअसल सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली-एनसीआर में ग्रीन पटाखों के इस्तेमाल का ग्रीन सिग्नल दे दिया है। हालांकि कोर्ट ने इसके साथ कई शर्ते भी लगाई है। सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया है कि दिवाली के दो दिन पहले और दिवाली के दिन केवल सुबह 6 बजे से 7 बजे और रात 8 बजे से 10 बजे तक ही ग्रीन पटाखे फोड़े जा सकते हैं। चीफ जस्टिस बीआर गवई और न्यायमूर्ति विनोद चंद्रन की पीठ ने यह अहम आदेश सुनाया। कोर्ट ने कहा कि परंपरागत पटाखों की तुलना में ग्रीन पटाखे पर्यावरण को कम नुकसान पहुंचाते हैं, इसलिए सीमित और नियंत्रित उपयोग की अनुमति दी जा सकती है।
सीजेआई बीआर गवई ने कहा कि अदालत ने इस मुद्दे पर सॉलिसिटर जनरल और एमिकस क्यूरी के सुझावों पर विचार किया है। उन्होंने कहा, हम समझते हैं कि उद्योग जगत की भी चिंताएं हैं। पारंपरिक पटाखों का इस्तेमाल बढ़ रहा है, जिससे प्रदूषण और ज्यादा बढ़ता है। इसलिए हमें एक संतुलित दृष्टिकोण अपनाना होगा।उन्होंने कहा कि जब पटाखों पर प्रतिबंध लगाया गया था, तो कोविड काल को छोड़कर वायु गुणवत्ता में बहुत बड़ा सुधार देखने को नहीं मिला। वहीं, पिछले छह वर्षों में ग्रीन पटाखों के आने से प्रदूषण के स्तर में काफी कमी आई है।
ग्रीन पटाखों के इस्तेमाल के लिए एससी ने तय की समय-सीमा
सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया है कि 18 अक्टूबर से 21 अक्टूबर 2025 तक दिल्ली-एनसीआर में ग्रीन पटाखों की बिक्री और इस्तेमाल की जा सकती है। हालांकि, यह बिक्री केवल क्यूआर कोड वाले ग्रीन पटाखों की ही होगी। ग्रीन पटाखों के इस्तेमाल के लिए भी सुप्रीम कोर्ट ने समय सीमा तय की है। ग्रीन पटाखों का इस्तेमाल केवल सुबह 6 बजे से 7 बजे तक और रात 8 बजे से 10 बजे तक ही किया जा सकेगा।
नियम तोड़ने पर होगी सख्त कार्रवाई
कोर्ट ने कहा कि पुलिस अधिकारी गश्ती दल बनाएंगे, जो यह सुनिश्चित करेंगे कि बाजार में केवल प्रमाणित ग्रीन पटाखे ही बिकें। अगर कोई नियम तोड़ेगा, तो उसके खिलाफ तुरंत कार्रवाई की जाएगी और नोटिस जारी किया जाएगा। इसके साथ ही, कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया कि ई-कॉमर्स वेबसाइटों जैसे अमेजन या फ्लिपकार्ट आदि पर पटाखों की ऑनलाइन बिक्री पूरी तरह प्रतिबंधित रहेगी।