मध्यप्रदेश की राधजानी भोपाल की पूर्व भाजपा सांसद साध्वी प्रज्ञा ठाकुर अपने आक्रामक और विवादित बयानों को लेकर एक बार फिर चर्चा में हैं। उन्होंने कहा है कि विधर्मियों के हाथ की बनी कोई चीज नहीं खाना है।
मंदिर के आसपास ऐसे लोग मिलें तो उनकी जमकर ठुकाई करो। न उन्हें यहां प्रसाद बेचने आने देंगे ना मंदिर में प्रवेश करने देंगे।
यही नहीं प्रज्ञा ठुकार ने यह तक कहा कि अपने घर में किसी भी विधर्मी को न आने दें, चाहें वो लाइट फिटिंग करने वाला हो या नल फिटिंग या सफाई वाला, विधर्मियों को सबक सिखाने के लिए घर में हथियार रखने की बात भी प्रज्ञा ठाकुर ने कही। वे गांधी और नेहरू पर भी तंज करने से नहीं चूंकी।
साध्वी प्रज्ञा ठाकुर राजधानी भोपाल के थोला इलाके में दुर्गा वाहिनी पथ संचालन कार्यक्रम के दौरान महिलाओं को संबोधित कर रही थीं।
इस दौरान उन्होंने कहा कि मंदिरों में नवरात्र में ऐसे कई ग्रुप बनाकार ढूंढ़ना पड़ेगा कि हमारे मंदिरो के आसपास प्रसाद कौन बेच रहा है? अगर कोई विधर्मी हो तो उसकी ठुकाई लगाओ। विधर्मियों से हम न प्रसाद खरीदेंगे और न बेचने देंगे। ना ही उन्हें मंदिरों में आने देंगे।
साध्वी प्रज्ञा ने नफरत भरे लहजे में कहा कि दुश्मन घर की दहलीज पार करे तो उसे बीच से….। घर में हथियार रखने का आह्वान करने को कहा है। साध्वी ने कहा हर घर में नियम-कानून का हम पालन करते हैं, क्योंकि ये देश हमारा है।
प्रज्ञा ठाकुर ने राष्ट्रपिता महात्मा गांधी और पूर्व प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू पर भी तंज किया। उन्होंने कहा कि वो कहते थे कि आजादी बिना खड़ग, बिना ढाल के मिले, वो सिर्फ सत्ता के लालची थे। उन्होंने ऐसे व्यक्ति को प्रथम प्रधानमंत्री बना दिया, जो पेरिस में अपने कपड़े धुलवाने भेजता था। अंग्रेजों की चाटुकारिता करता था। अंग्रेजी महिलाओं के समक्ष नतमस्तक होता था। न उसका चरित्र अच्छा था न चाल और न ही नेतृत्व। ऐसे लोगों को प्रधानमंत्री बनाकर देश से कुठाराघात किया। स्वतंत्रता के बाद उन्हीं नीतियों के कारण हम उस कगार पर पहुंचे, जहां हमारे देश के कई देश बना दिए गए।
साध्वी प्रज्ञा ठाकुर के आक्रामक और विवादित बयान पर विपक्ष ने उन्हें जमकर घेरा। कांग्रेस ने इसे नफरत फैलाने का हथियार बताया। प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता भूपेंद्र यादव ने कहा, ‘साध्वी समाज को बांटने का प्रयास कर रही हैं।’ ऐसे बयानों पर सख्त कारर्वाई होनी चाहिए। मुस्लिम संगठनों ने कार्यक्रम मको साम्प्रदायिक उन्माद फैलाने वाला करार देते हुए शिकायत दर्ज करने की बात कही है।
बता दें कि साध्वी प्रज्ञा ठाकुर 2019 में दिग्विजय सिंह को हराकर भोपाल से सांसद बनी थीं। 2024 में टिकट कटने के बाद भी सक्रिय भूमिका में हैं। उनके इस बयान ने नवरात्र के दौरान धार्मिक आयोजनों को राजनीतिक रंग दे दिया है।
नए सिरे से तय होंगे कर्मचारियों के अवकाश, समिति करेंगी समीक्षा
मध्यप्रदेश में 6 लाख से अधिक सरकारी अधिकारी और कर्मचारी के अवकाश पर सरकार की नजर है। सरकार की ओर से एक समिति का गठन किया गया है, जो कि सरकारी दफ्तर, निगम मंडल और दूसरे संस्थानों के सभी प्रकार के अवकाशों की समीक्षा करेगी। इसके बाद सरकार को रिपोर्ट सौंपी जाएगी। इसी के आधार पर कर्मचारियों का अवकाश तय होगा।
दरअसल, एक महीने पहले गणेश चतुर्थी के पहले हुई मोहन सरकार की कैबिनेट बैठक में मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा था कि कर्मचारियों को दिए जाने वाले अवकाश को नए सिरे से तय किया जाएंगे। उसी दौरान गणेश चतुर्थी को भी सामान्य अवकाश घोषित किया गया था।
मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव के निर्देश के बाद सामान्य प्रशासन विभाग न एक समिति का गठन किया था। जानकारी के अनुसार, त्योहारों के दौरान किसी वर्ग विशेष को छुट्टी देने और धार्मिक आधार पर छुट्टी तय करने का फैसला समिति ले सकती है। साथ ही दीपावली, नवरात्रि, क्रिसमस, ईद जैसे त्योहारों के आधार पर छुट्टी तय की जा सकती है।
सामान्य प्रशासन विभाग के द्वारा गठित समिति में चार विभागों के वरिष्ठ आईएएस अफसर हैं। जिसमें वित्त, राजस्व, गृह और एक वरिष्ठ आईएएस अफसर शामिल हैं। हालांकि, समिति में अपर मुख्य सचिव स्तर के ही अफसरों को शामिल किया गया है। सामान्य प्रशासन विभाग की समिति के समन्वयक की जिम्मेदारी संजय कुमार शुक्ल के पास है।
इस समिति में अपर मुख्य सचिव स्तर के अफसरों को शामिल किया गया है। इसमें समिति के समन्वयक की जिम्मेदारी अपर मुख्य सचिव सामान्य प्रशासन विभाग को सौंपी गई है। यह जिम्मेदारी वर्तमान में संजय कुमार शुक्ल निभा रहे हैं।