मध्य प्रदेश के परिवहन विभाग के पूर्व आरक्षक सौरभ शर्मा को लेकर नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने मंत्री गोविंद सिंह राजपूत पर गंभीर आरोप लगाए थे। अब इस मामले में मंत्री गोविंद राजपूत ने नेता प्रतिपक्ष को मानहानि का नोटिस भेजा है।
गौरतलब है कि नेता प्रतिपक्ष ने गोविंद सिंह राजपूत पर परिवहन मंत्री रहने के दौरान भ्रष्टाचार करने और करीब 1500 करोड़ रुपए की जमीन खरीदने के आरोप लगाए थे। अब इस मामले में मंत्री गोविंद राजपूत ने उमंग सिंघार केपर उनकी छवि धूमिल करने का आरोप लगा कर जवाब देने 15 दिन का समय दिया है। वहीं, नोटिस पर नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने भी प्रतिक्रिया दी है।
नोटिस पर प्रतिक्रिया देते हुए उमंग सिंघार ने कहा कि नोटिस का जवाब भी देंगे और कोर्ट भी जाएंगे। न डरे हैं, न डरेंगे। बता दें नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने फरवरी माह में मंत्री गोविंद सिंह राजपूत पर परिवहन विभाग के घोटाले को लेकर गंभीर आरोप लगाए थे, उन्होंने कहा कि इस घोटाले से हर माह राजपूत को 150 करोड़ रुपए पहुंचे। उन्होंने दस्तावेज दिखाते हुए गोविंद राजपूत पर अपने परिचितों और रिश्तेदारों के नाम से भ्रष्टाचार के पैसों से जमीन खरीदने के आरोप लगाए थे।
नेता प्रतिपक्ष ने बताया कि परिवहन विभाग के घोटाले में एक पूरा रैकेट काम कर रहा था। उन्होंने 1500 करोड़ रुपए का लेखा जोखा होने की बात कही थी। उन्होंने आरोप लगाया था कि मंत्री ने परिवहन मंत्री रहते मध्य प्रदेश समेत के कई शहरों समेत दिल्ली के पॉश इलाके में बिल्डिंग में थर्ड फ्लोर और टैरिस अपने परिचितों के नाम से खरीदने का आरोप लगाया था।
मध्य प्रदेश परिवहन विभाग के पूर्व आरक्षक सौरभ शर्मा के ठिकानों से करोड़ों रुपए की नगदी, सोना-चांदी और संपत्ति के दस्तावेज मिले है। शर्मा के करीबी के नाम पर रजिस्टर्ड एक कार में 52 किलो सोना और 10 करोड़ रुपए नगद मिले थे। इस दौरान आरोप है कि सौरभ परिवहन विभाग की चौकियां से वसूली करता था, जिसको मंत्री गोविंद सिंह के इशारे पर किया जा रहा था। इस मामले में लोकायुक्त, ईडी से लेकर आयकर विभाग की टीमें जांच कर रही है। फिलहाल उनको कोई खास जानकारी नहीं मिलने की बात कहीं जा रही है। सौरभ शर्मा और उसके करीबी चेतन सिंह गौर और शरद जयसवाल फिलहाल न्यायिक हिरासत में है।