केंद्र सरकार ने साफ कहा है कि पूरे साल के लिए हवाई किरायों पर सीमा तय करना संभव नहीं है। सरकार का कहना है कि मांग और सीजन के हिसाब से किराया बदलता है, इसलिए पूरे साल की कैप लगाना व्यावहारिक नहीं है।
नागरिक उड्डयन मंत्री के. राममोहन नायडू ने लोकसभा में बताया कि त्योहारों या ज्यादा भीड़ वाले समय में हवाई टिकटों की कीमतें स्वाभाविक रूप से बढ़ जाती हैं। ऐसे में पूरे साल के लिए एक तय सीमा लागू करना मुमकिन नहीं है। उन्होंने कहा कि जब मांग बढ़ती है तो किराए भी बढ़ते हैं, इसलिए मंत्रालय एयरलाइंस को निर्देश देता है कि ऐसे समय में उड़ानों की संख्या बढ़ाएं।
केंद्रीय मंत्री ने बताया कि भीड़ के दिनों में यात्रियों को ज्यादा विकल्प देने के लिए सरकार ने अतिरिक्त उड़ानें जोड़ने और रूट बढ़ाने पर जोर दिया है। एयरलाइंस को निर्देश दिए गए हैं कि वे पीक सीजन में सीटें बढ़ाएं और लोकप्रिय रूटों पर ज्यादा उड़ानें चलाएं।
संकट के बीच सरकार का प्लान
नायडू ने कहा कि मंत्रालय का प्रयास है कि टिकटों का किराया एक समायोज्य और उचित दायरे में रहे। इसके लिए एयरलाइंस को क्षमता बढ़ाने, नई उड़ानें जोड़ने और यात्री-सुरक्षा नियमों का पालन करने के निर्देश दिए गए हैं।
यह बयान ऐसे समय आया है जब देश की सबसे बड़ी एयरलाइन IndiGo को हाल की परिचालन दिक्कतों के कारण अपना फ्लाइट शेड्यूल कम करना पड़ा है। सरकार ने कहा कि यात्रियों को विकल्प देने के लिए रूट और उड़ान क्षमता में लगातार बढ़ोतरी की जा रही है।



