कोरोना के संहार के लिए महाकाल के दरबार में हुआ अति रुद्र महामृत्युंजय जाप
उज्जैन। इतिहास गवाह है की जब जब धरती पर विपत्ति आइ है, तब तब मनुष्य ने ईश्वर का सहारा लिया है। देश भर में कोरोना (CORONA) ने हाहाकार मचा रखा है इस बीच सब भगवान को याद कर दुआ कर रहे है । उज्जैन महाकाल मंदिर (Mahakal Temple) में कोरोना के पतन के लिए अति रूद्र महामृत्युंजय का अनुष्ठान किया गया । प्रदोष पर्व से अति रूद्र महामृत्युंजय अनुष्ठान शुरू किया था। 11 दिन चले इस अनुष्ठान में 76 पंडितों ने दो शिफ्ट में रोज महारुद्र महामृत्युंजय जाप किया। 11 दिन चले अति रुद्र महामृत्युंजय जाप की आज पूर्णा आहुति हो गयी।
महाकाल कालों के काल हैं
पूर्णाहूति में 3 क्विंटल लकड़ी (3 quintal wood) और करीब ढाई क्विंटल शक्कर (sugar), चावल(rice), पंच मेवा (Punch nuts), घी, हवन सामग्री (incense burner) लगी. मान्यता है कि महाकाल कालों के काल हैं और अब सृष्टि में जिस तरह कोरोना अपना विकराल रूप लेकर आम लोगों की जान ले रहा है उससे सिर्फ अब महाकाल ही बचा सकते हैं। श्री महाकालेश्वर मंदिर समिति ने कोरोना संक्रमण कम करने के लिए प्रदोष पर्व से अति रूद्र महामृत्युंजय अनुष्ठान शुरू किया था. 11 दिन चले इस अनुष्ठान के दौरान 76 पंडितों ने दो शिफ्ट में रोज महारुद्र महामृत्युंजय जाप किया.पूर्णा आहुति में आज महाकाल मंदिर समिति के प्रशासक सुजानसिंह रावत, सहायक प्रशासक प्रतीक द्विवेदी भी शामिल हुए. इनके साथ करीब 70 से अधिक पंडितों ने पांच कुंडीय यज्ञ अनुष्ठान कर पूर्णाहुति दी.ये यज्ञ मंदिर समिति ने कोरोना वायरस के समूल उन्मूलन और जनकल्याण के लिए किया गया था. अनुष्ठान 9 अप्रैल सुबह 8 बजे शुरू हुआ था. 11 दिन तक पण्डे पुजारियों ने नंदी हॉल में बैठकर अति रुद्र महामृत्युंजय जाप किया।