जैसलमेर में मानसून की दस्तक, दिल्ली-हरियाणा अब भी सूखा
ताजा खबर: नयी दिल्ली। दक्षिण पश्चिम मानसून (south west monsoon) सोमवार को अपने आखिरी पड़ाव में पड़ने वाले जैसलमेर और गंगानगर जिलों (Jaisalmer and Ganganagar districts) तक पहुंच गया, लेकिन दिल्ली और हरियाणा (Delhi and Haryana) के कुछ हिस्सों में बारिश का अब भी इंतजार है। दिल्ली के आसपास के क्षेत्रों में से उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के अलीगढ़ (Aligarh) और हरियाणा (Hariyana) के करनाल (Karnal) में बारिश हुई, लेकिन राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली (National Capital Delhi) में बादल मंडराते ही रहे, बरसे नहीं और इस वजह से यहां गर्मी से राहत नहीं मिली है। पश्चिमी राजस्थान (Western Rajasthan), पंजाब (Punjab) और हरियाणा (Hariyana) के कुछ हिस्सों में राहत की बूंदे बरस गयी हैं।
भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD ने कहा कि दक्षिण पश्चिम मॉनसून की उत्तरी सीमा (NLM) इस समय जैसलमेर, नागौर, भरतपुर, अलीगढ़, करनाल और गंगानगर से गुजर रही है। मौसम विभाग ने कहा, पिछले तीन दिन से बंगाल की खाड़ी से नमी वाली पुरवाई हवाओं के चलने से बादलों का दायरा बढ़ गया और पिछले 24 घंटे में कई स्थानों पर बारिश हुई। दक्षिण पश्चिम मॉनसून आगे बढ़ गया है और 12 जुलाई को राजस्थान, पंजाब के अधिकतर स्थानों के साथ ही हरियाणा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कुछ और स्थानों पर दस्तक दे चुका है।
IMD के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र (Director General Mrityunjay Mohapatra) ने कहा कि राष्ट्रीय राजधानी में शनिवार से दक्षिण पश्चिम मॉनसून के बादल छाये हुए हैं, हवा का रुख बदल गया है और नमी वाली पुरवाई हवाएं चल रही हैं। उन्होंने कहा, लेकिन अभी तक वर्षा नहीं हुई। यह बहुत असाधारण स्थिति है। महापात्र ने कहा कि दिल्ली में मॉनसून को लेकर सभी स्थितियां बनी हुई हैं और जैसे ही बारिश होती है, मॉनसून के आगमन को लेकर घोषणा की जाएगी।
मौसम विभाग ने पहले कहा था कि दिल्ली में 15 जून को मॉनसून आ जाएगा, लेकिन बाद में उसने अपने पूर्वानुमान में बदलाव कर दिया। पांच जुलाई को आईएमडी ने कहा कि दक्षिण पश्चिम मॉनसून के 10 जुलाई तक दिल्ली पहुंचने के लिहाज से परिस्थितियां अनुकूल हैं। हालांकि 10 जुलाई से बारिश नहीं हुई है। आईएमडी ने कहा कि वह देश के बचे हुए हिस्सों में मॉनसून की प्रगति पर लगातार नजर रख रहा है।