दिग्गी के निशाने पर फिर ईवीएम-भाजपा: बोले- बटन किसी का भी दबाएं, पर वोट भाजपा को ही क्यों जाता है?

भोपाल/नई दिल्ली। मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने ईवीएम को लेकर बीजेपी पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि ईवीएमऔर भाजपा का अजब संयोग है। सारी शिकायतें इन दोनों को लेकर ही होती हैं। शिकायत भी यही होती है कि बटन किसी का भी दबाएं मगर वोट भाजपा को जा रहा है। उन्होंने मीडिया से सवाल उठाया कि जब भी अवैध रूप से ईवीएम मिलती है वो भाजपा नेताओं के पास क्यों पाई जाती है?
पूर्व मुख्यमंत्री ने 2018 के मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव का जिक्र करते हुए कहा कि मंत्री भूपेंद्र सिंह चुनाव लड़ रहे थे। उनकी निजी बस में ईवीएम मिली थी। कल रात असम में भाजपा उम्मीदवार की गाड़ी से ईवीएम मिली है। यह क्या है? चुनाव आयोग ने भी 4 लोगो को निलंबित कर दिया और एक बूथ पर दोबारा मतदान होगा। यह क्यों हो रहा है।
चुनाव आयोग संज्ञान ले- दिग्विजय
दिग्विजय सिंह ने कहा कि बीजेपी और ईवीएम पर कभी कोई चर्चा नहीं होगी क्या। इस मसले पर चुनाव आयोग को संज्ञान लेना चाहिए। ऐसा क्यों होता है कि जब भी फायदा पहुचांने की बात होती है तो भाजपा को ही होता है। भाजपा के कांग्रेस हार रही है दावे पर उन्होंने कहा कि हार-जीत का फैसला 2 मई को होगा।
बीजेपी केवल बांटने में लगी है- दिग्विजय
दिग्विजय सिंह ने कुछ दिन पहले ही शिवराज सरकार को आड़े हाथों लिया था। उन्होंने कहा था जब मध्य प्रदेश बेरोजगारी और महंगाई जैसे मुद्दों से जूझ रहा है ऐसे हालात में सरकार को उन पर ध्यान देना चाहिए। व्यापम का दूसरा अध्याय शुरू हो गया है, मंहगाई बढ़ रही, गैस-पेट्रोल के दाम लगातार बढ़ रहे हैं, सरकार के पास छात्रवृत्ति बांटने के लिए पैसा नहीं है, इन परिस्थितियों में सरकार को लव जिहाद की पड़ी हुई है। दिग्विजय सिंह ने कहा था सिर्फ हिन्दू-मुस्लिम, कब्रिस्तान-श्मशान और हिंदुस्तान-पाकिस्तान के अलावा भाजपा के पास कोई एजेंडा नहीं है।
निजीकरण के रास्ते पर शिवराज सरकार
दिग्विजय सिंह ने आत्मनिर्भर मध्यप्रदेश के रोडमैप पर शिवराज सिंह को आड़े हाथों लेते हुए कहा 2004 से बीजेपी सरकार ये विकास का वादा करती आ रही है। लेकिन विकास करने में वो अब और कितना समय लेगी।राज्य सरकार ने 5 हजार हाई स्कूल बंद करने का फैसला कर लिया है। 15 किलोमीटर तक के दायरे के हाई स्कूल बंद किए जा रहे हैं। शिवराज सरकार पूरी तरह से निजीकरण के रास्ते पर चल रही है। निजी लोगों को स्कूल की संपत्ति बेची जा रही है।अब मंडियों को बेच रहे हैं।