खेल

ओलिंपिक में अब दाहिया और पूनिया से देश की उम्मीद 

चीबा (जापान), भारतीय पहलवान रवि दाहिया (Indian Wrestler Ravi Dahiya) और दीपक पूनिया (Deepak Punia) ने अपने ओलंपिक अभियान (Mission Olympic) की मजबूत शुरुआत करते हुए बुधवार को यहां ओलंपिक की कुश्ती स्पर्धा के सेमीफाइनल (Semifinal of Wrestling Competition) में प्रवेश कर लिया ।

दहिया का दबदबा इतना था कि उन्होंने 57 किलोवर्ग में दोनों मुकाबले तकनीकी दक्षता ( technical superiority) के आधार पर जीते । सेमीफाइनल में उनका सामना कजाखस्तान के नूरइस्लाम सानायेव (Kazakhstan’s Nurislam Sanayev) से होगा ।

दहिया ने पहले दौर में कोलंबिया के टिगरेरोस उरबानो आस्कर एडवर्डो (Colombia’s Tigreros Urbano ) को 13 . 2 से हराने के बाद बुल्गारिया के जॉर्जी वेलेंटिनोव वेंगेलोव (Bulgaria’s Georgi Valentinov Vangelov ) को 14 . 4 से हराया ।

वहीं पूनिया ने पुरूषों के 86 किग्रा वर्ग में आसान ड्रॉ का पूरा फायदा उठाते हुए पहले दौर में नाइजीरिया के एकेरेकेमे एगियोमोर (Nigeria’s Ekerekeme Agiomor) को मात दी जो अफ्रीकी चैम्पियनशिप ( African championship bronze medallist ) के कांस्य पदक विजेता हैं । क्वार्टर फाइनल में उन्होंने चीन के जुशेन लिन ( China’s Zushen Lin ) को 6 . 3 से हराया ।

वहीं 19 वर्ष की अंशु मलिक (Anshu Malik) महिलाओं के 57 किलोवर्ग के पहले मुकाबले में यूरोपीय चैम्पियन बेलारूस की इरिना कुराचिकिना (European champion Bulgarian Irina Kurachikina) से 2 . 8 से हार गई।

अल्जीरिया के अब्देलहक खेरबाचे (Abdelhak Kherbache of Algeria) को तकनीकी दक्षता के आधार पर हराने वाले वेंगलोव के खिलाफ दहिया ने अपना शानदार फॉर्म जारी रखते हुए शुरू से ही दबाव बनाये रखा।

चौथे वरीय इस भारतीय पहलवान ने उरबानो के खिलाफ मुकाबले में लगातार विरोधी खिलाड़ी उसके दायें पैर पर हमला किया और पहले पीरियड में ‘टेक-डाउन’ से अंक गंवाने के बाद पूरे मुकाबले में दबदबा बनाए रखा।

गत एशियाई चैंपियन दाहिया ने उस समय 13-2 से जीत दर्ज की जबकि मुकाबले में एक मिनट और 10 सेकेंड का समय और बचा था। भारतीय पहलवान ने दूसरे पीरियड में पांच टेक-डाउन से अंक जुटाते हुए अपनी तकनीकी मजबूती दिखाई।

वहीं 86 किग्रा वर्ग में नाइजीरियाई पहलवान के पास ताकत थी लेकिन पूनिया के पास तकनीक थी और वह भारी पड़ी । लिन के खिलाफ हालांकि उन्हें परेशानी पेश आई । उन्होंने 3 . 1 की बढत बनाई लेकिन लिन ने 3 . 3 से वापसी की । रैफरी ने थ्रो के लिये दीपक को दो अंक दिये लेकिन चीनी पहलवान ने इसे चुनौती दी और सफल रहे ।

दस सेकंड बाकी रहते पूनिया ने लिन के नीचे से घुसकर उसके पैर पकड़ लिये और हवा में उछालकर दो अंक के साथ मुकाबला जीत लिया । अब उनका सामना अमेरिका के 2018 विश्व चैम्पियन डेविड मौरिस टेलर से होगा ।

वहीं एशियाई चैम्पियन अंशु ने शानदार वापसी करते हुए 0 . 4 से पिछड़ने के बावजूद बेलारूस की प्रतिद्वंद्वी के खिलाफ दो पुश आउट अंक लिये । उसने कुराचिकिना का दाहिना पैर पकड़ लिया लेकिन मूव पूरा नहीं कर सकी ।

जवाबी हमले पर उसने दो अंक गंवाये लेकिन लड़ती रही । यूरोपीय पहलवान का अनुभव आखिरकर उसके जोश पर भारी पड़ा ।

अंशु की वापसी अब इस बात पर निर्भर करेगी कि कुराचिकिना कहां तक पहुंचती है । अगर वह फाइनल में पहुंचती है तो अंशु को रेपाशाज खेलने का मौका मिलेगा ।

फाइनल में पहुंचे नीरज चोपड़ा

भारत के स्टार एथलीट नीरज चोपड़ा (Neeraj Chopra) ने तोक्यो ओलंपिक की भाला फेंक प्रतियोगिता (men’s javelin throw) के क्वालीफाइंग में बुधवार को यहां शीर्ष पर रहते हुए फाइनल में जगह बनाई लेकिन उनके हमवतन शिवपाल सिंह लचर प्रदर्शन करते हुए पदक की दौड़ से बाहर हो गए। ओलंपिक में पदार्पण कर रहे चोपड़ा ने अपने पहले ही प्रयास में भाले को 86.65 मीटर की दूरी तक फेंककर 83.50 मीटर का स्वत: क्वालीफिकेशन स्तर हासिल करते हुए फाइनल के लिए क्वालीफाई किया और भारत के लिए पदक की उम्मीद जगाई। एशियाई खेलों, राष्ट्रमंडल खेलों और एशियाई चैंपियनशिप के स्वर्ण पदक विजेता चोपड़ा ने पहले ही प्रयास में फाइनल के लिए क्वालीफाई करने के बाद अपने बाकी दो प्रयास नहीं करने का फैसला किया। क्वालीफिकेशन में तीन प्रयास का मौका मिलता है जिसमें से सर्वश्रेष्ठ प्रयास को गिना जाता है।

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