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कम हो सकते है पेट्रोल डीजल के दाम : अगर सरकार मानें यह सुझाव

व्यापार:दिल्ली – पेट्रोल डीजल(Petrol Diesel) के दामों में लगातार बढ़ोत्तरी होती जा रही है। इस वृद्धि को थामने के लिए लेकर केन्द्र और राज्य सरकार(Central government) के द्वारा अब कोई खास कदम नहीं उठाए गये है । ऐसे में घरेलू रेटिंग एजेंसी इक्रा(ICRA) ने सरकार को एक सुझाव दिया है कि कोविड19 (COVID 19) संक्रमण की रफ्तार काम होने के बाद पेट्रोल–डीजल की खपत में बढ़ोत्तरी के कारण सरकार को वित्त वर्ष 2020-21 के राजस्व संग्रह(Financial year) को प्रभावित किए बिना भी ईंधन पर लगाने वाले उपकर (Additional tax) में 4.5 रुपये प्रति लीटर की कमी की जा सकेंगी। अगर सरकार इस सुझाव को मानती है, तो महंगाई के दबाव को कम किया जा सकेगा।

 

40 हजार करोड़ छोड़ें सरकार

साल 2020-21 में पेट्रोल – डीजल की खपत में 14 प्रतिशत और 10 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी हुई थी। इस बढोत्तरी को लेकर रेटिंग एंजेंसी इक्रा ने कहा कि ऐसे उपकर संग्रह के जरिए सरकार को अतिरिक्त 40 हजार को राजस्व (Extra Revenue)प्राप्त हुआ है। यदि सरकार 40 हजार करोड़ रुपये के अतिरिक्ति उपकर संग्रह (Tax collection) को छोड़ देगी है तो इससे पेट्रोल और डीजल के दाम 4.5 प्रति लीटर कम सकते है, सरकार यह कदम उठाती हैं तो मुद्रास्फीति की स्थिति को कंट्रोल करने में भी मदद मिलेगी।

 

अप्रत्यश करों में होगी वृद्धि

रेटिंग एजेंसी(Rating Agency) इक्रा की मुख्य अर्थशास्त्री अदिति नायर(Aditi nayar) कहती है कि ईंधन की अधिक खपत से उन पर लगाये गये अप्रत्यक्ष करों में वृद्धि होगी। जिसके आधार पर पिछले साल बढ़ाए गए उपकर में आंशिक वापसी की जाती है। 2021-22 में कुल उपकर संग्रह को बीते फाईनेंशियल ईयर के स्तर पर बनाए रखने के साथ ही पेट्रोल डीजल पर लगाए गए उपकर को 4.5 रुपये प्रति लीटर कम किया जा सकता है।

 

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