व्रत में में खूब खाया जाता है कुट्टू का आटा , जानिए इसके फायदे

व्रत में सबसे ज्यादा कुट्टू का आटा खाया जाता है। इसके आटे से व्रत में खाने वाली पूड़ियां, पराठे, पकौड़े, चीला बनाया जाता है। कुट्टू के आटे की बनी चीजे न सिर्फ व्रत के दौरान तुरंत ऊर्जा देती हैं बल्कि आमतौर पर इसके सेवन से सेहत से जुड़ी कई समस्याएं दूर होती हैं।कुट्टू को अंग्रेजी में बकव्हीट (Buckwheat) कहा जाता है लेकिन इसका किसी तरह के अनाज से कोई संबंध नहीं होता है। कुट्टू का आटा अनाज की श्रेणी में नहीं आता इसलिए इसे व्रत में खाने की सलाह दी जाती है। बकव्हीट पौधे से प्राप्त फल तिकोने आकार के होते हैं जिन्हें पीसकर इस आटे को तैयार किया जाता है। छोटे आकार के इस पौधे में गुच्छों में फूल और फल आते हैं। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि कुट्टू का आटा हमारी सेहत के लिए काफी लाभदायक है। भारत (India) में इसकी खेती हिमालय (Himalaya) के कुछ हिस्सों में की जाती है। व्रत के दौरान कुट्टू के आटे का फलाहार तो सभी करते हैं लेकिन इसका सेव व्रत में क्यों जरूरी है इसके बारे में आपने कभी सोचा है? धर्म और मान्यताओं से परे, सेहत के लिहाज से इसके सेवन का अपना महत्व है। व्रत में सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाने वाला कुट्टू का आटा सामान्य बीमारियों समेत कई गंभीर रोगों से निजात दिलाने में रामबाण साबित होता है। क्योंकि कुट्टू के आटे में मैग्निशियम, विटामिन-बी, प्रोटीन, जिंक, कॉपर,आयरन, कैल्शियम, फास्फोरस और फॉलेट पाया जाता है।लेकिन क्या आप कुट्टू के आटे के फायदे ( Kuttu Aata Benefits) जानते हैं। शायद नहीं, कुट्टू हमें ब्लड प्रेशर,डायबिटीज, अस्थमा जैसी गंभीर बीमारियों से बचाने में बेहद फायदेमंद होता है। ऐसे में आइए जानते सेहत से भरपूर कुट्टू के आटे के फायदे…..
पोषण से भरपूर कुट्टू का आटा (Nutritious Buckwheat Flour)
कुट्टू का आटा दरअसल पोषक तत्वों से भरपूर होता है. इसमें भरपूर मात्रा में प्रोटीन, मैग्नीशियम, विटामिन-बी, आयरन, कैल्शियम, फॉलेट, जिंक, कॉपर, मैग्नीज और फासफोरस पाया जाता है. इसमें मौजूद फाइटोन्यूट्रिएंट रूटीन कोलेस्ट्रोल और ब्लड प्रेशर को कम करता है. जो लोग सेलियक रोग से पीड़ित हैं उन्हें इसे खाने की सलाह दी जाती है.
कुट्टू के आटे के लाभ (benefits of buckwheat flour)
कुट्टू में सभी नौ आवश्यक अमीनो एसिड होते हैं, जो हमारे शरीर में प्रोटीन के बनाने में मददगार होते हैं। यह फाइबर, एंटीऑक्सिडेंट, और मैग्नीशियम से भी समृद्ध है। विभिन्न अध्ययनों से यह पता चला है कि नियमित रूप से कुट्टू खाने से हृदय स्वास्थ्य में सुधार हो सकता है। इतना ही नहीं इससे ब्लड शुगर को नियंत्रित करने में मदद मिल सकती है। कुट्टू में जटिल कार्बोहाइड्रेट भी होता है और इसलिए इसे स्यूडोसेरियल कहा जाता है।
दिल के लिए लाभकारी (beneficial for heart)
कूटू में नियासिन, फोलेट, विटामिन बी और विटामिन बी 6 जैसे पोषक तत्व पाए जाते हैं जो स्वास्थ्य के लिए काफी फायदेमंद हैं। कूटू में मौजूद विटामिन रक्त में कोलेस्ट्रॉल की मात्रा को कम करता है और नियासिन के कारण एचडीएल कोलेस्ट्रॉल यानी अच्छे कोलेस्ट्रॉल के स्तर में सुधार होता है। इससे रक्त वाहिकाएं बेहतर तरीके से काम करती हैं और एलडीएल यानी खराब कोलेस्ट्रॉल को कम करने में मदद मिलती है।
डायबिटीज में फायदेमंद (beneficial in diabetes)
कुट्टू के आटे में कैलोरी कम होती है और सैचुरेटेड फैट्स नहीं होते जिससे इसका सेवन डायबिटीज के मरीजों के लिए फायदेमंद है। कुट्टू के आटे में डी-चीरो-इनोसिटोल नामक तत्व होता है जो टाइप 2 डायबिटीज से बचाव में मददगार है।
हड्डियों को बनाता है मजबूत (makes bones strong)
कुट्टू कैल्शियम, प्रोटीन, मैग्नीशियम, फॉस्फोरस और पोटैशियम का अच्छा स्रोत है। कैल्शियम एक आवश्यक पोषक तत्व है, जो हड्डियों और दांतों को मजबूती प्रदान करता है। हड्डियों के स्वस्थ विकास के लिए इन सभी पोषक तत्वों की जरूरत होती है।
ब्लड प्रेशर का नियंत्रण (control of blood pressure)
कूटू को मैग्नीशियम (Magnesium) का अच्छा स्रोत माना गया है, जो रक्त वाहिकाओं को आराम पहुंचा कर रक्तचाप (Blood Pressure) में सुधार करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यह हानिकारक रसायनों के उपयोग के बिना स्वाभाविक रूप से रक्तचाप को कम करता है।
पथरी की रोकथाम में सहायक (Aids in the prevention of stones)
कुट्टू में पाई जाने वाली प्रोटीन की मात्रा पित्त (Gall Bladder) में मौजूद पथरी के गठन और कोलेस्ट्रॉल (Cholestrol) के स्तर को कम करती है। कुट्टू के प्रयोग से शरीर में बाइल एसिड का निर्माण होता है, जिस कारण पित्त की पथरी से छुटकारा मिल सकता है।
मधुमेह नियंत्रण में असरदार (effective in controlling diabetes)
वैज्ञानिक शोध के अनुसार, आहार में फाइबर आपके रक्त शर्करा (Blood Sugar) के स्तर को बहुत तेजी से बढ़ने से रोकता है। इसके साथ ही कूटू में एंटीडायबिटिक (Anti Diabetic) गुण पाए जाते हैं, जो टाइप 2 मधुमेह (Type 2 Diabetes) के नियंत्रण में सहायक होते हैं।
वजन कम करने में मददगार (helpful in reducing weight)
कूटू में फाइबर (Fiber) की अच्छी मात्रा पाई जाती है, जिससे पेट को भरने में मदद मिलती है। इससे भूख कम लगती है और शरीर को पर्याप्त ऊर्जा भी मिलती है। इसके अलावा यह कैलोरी (Calorie) की संख्या को कम कर सकता है, जिससे वजन कम किया जा सकता है।
कुट्टू की तासीर होती है गर्म
जानकारों के अनुसार कुट्टू के आटे का सेवन करना बेहद फायदेमंद होता है। इसकी तासीर गर्म होती है। आमतौर से उपवास के दौरान कुट्टू के आटे से विभिन्न प्रकार के व्यंजन बनाकर इसके स्वाद का मजा लिया जाता है। इसके साथ ही अपने गर्म तासीर के कारण इसका इस्तेमाल कई स्वास्थ्य निपटने के लिए औषधि के रूप में भी किया जाता है।