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शिक्षकों की पाठशाला में शिवराज ने कहा- कोई संस्थान अपनी मर्जी से कुछ भी नहीं पढ़ा सकता, सुधार के लिए बनेगी टास्क फोर्स

भोपाल। मध्यप्रदेश में स्कूल शिक्षा की दिशा और गति तय करने के लिए देश भर के शिक्षाविद् भोपाल में एकत्रित हुए हैं। कार्यक्रम में सीएम शिवराजसिंह चौहान ने कहा कि कोई संस्थान अपनी मर्जी से अब कुछ भी नहीं पढ़ा सकता। शिक्षा में सुधार के लिए टास्क फोर्स बनेगी। छात्रों को सिर्फ लिखा हुआ नहीं पढ़ाया जाएगा। सीएम शिवराजसिंह चौहान ने कमलनाथ पर हमला करते हुए कहा कि पिछली सरकार ने बंटाधार कर दिया। मप्र की शिक्षा को कचरा कर दिया था। बड़ी मुश्किल से इसे यहां तक ला पाएं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि बच्चों को रट्टू तोता नहीं बनाना है, जो मुक्ति दिलाए वहीं शिक्षा है। स्वामी विवेकानंदजी ने भी कहा था कि शिक्षा वह जो इंसान बना दें। संगोष्ठी में प्रदेश के शिक्षकों को छात्रों के बीच तालमेल बैठाने और पढ़ाई कराने के तरीकों के बारे में बताया जाएगा।

संगोष्ठी में पहले दिन शिक्षक छात्रों के अधिकार और विशेष शिक्षा के बारे में जानेंगे। इसके साथ ही शिक्षा में किए प्रयोग के बारे में भी शिक्षा के जानकार शिक्षकों को बताया जाएगा। कार्यक्रम में नई दिल्ली, हैदराबाद, मेरठ, तमिलनाडु, भुवनेश्वर, बिहार और बिलासपुर समेत अन्य जगहों से कुलपति, प्रोफेसर और शिक्षाविद् बुलाए गए हैं। ये सभी दो दिन तक प्रदेश के शिक्षकों को शिक्षा से जुड़ी बारीकियों के बारे में ट्रेनिंग देंगे।

बंद नहीं करेंगे स्कूल, बड़े स्कूल बनेंगे: मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना पीड़ित होने पर आत्मनिर्भर के बारे में काफी चिंतन किया। स्कूल के नाम पर कुछ भी खोल देने से नहीं चलेंगे। हम कोई भी स्कूल बंद नहीं करेंगे, बल्कि नए बड़े स्कूल बनेंगे। बेहतर दिशा देने भर से हमारे यही शिक्षक अच्छा कर सकते है। नई शिक्षा नीति मील का पत्थर साबित होंगी।

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