बिजली पर सियासत: अपनी इस नाकामी के लिए पीएम नेहरू या फिर राज्यों को ठहराएंगे जिम्मेदार: राहुल का मोदी पर कटाक्ष
नयी दिल्ली। देश के कई राज्यों में पैदा हुए बिजली संकट को लेकर कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने शनिवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर बड़ा कटाक्ष किया। उन्होंने ट्वीट कर लिखा की पीएम अपनी इस ‘नाकामी’ के लिए पंडित जवाहरलाल नेहरू को जिम्मेदार ठहराएंगे या फिर राज्यों और जनता को उत्तरदायी बताएंगे।
उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी के कुछ पुराने भाषणों के अंश साझा करते हुए ट्वीट किया, ‘‘ प्रधानमंत्री जी के ‘वादों’ और ‘इरादों’ के बीच का तार तो हमेशा से ही कटा था। मोदी जी, इस बिजली संकट में आप अपनी नाकामी के लिए किसे दोष देंगे? नेहरू जी को? राज्य सरकारों को? या फिर जनता को ही?
दरअसल राहुल गांधी ने मोदी के भाषणों के जो अंश साझा किए हैं उनमें प्रधानमंत्री यह कहते सुने जा सकते हैं कि 2022 में आजादी के 75 साल होने पर सभी देशवासियों को 24 घंटे बिजली उपलब्ध होगी। वहीं इस तरह के वीडियो कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने भी ट्वीट किए हैं। उन्होंने लिखा इसी तरह का वीडियो को साझा करते हुए मोदी जी, बिजलीघरों में कोयला नहीं है…ये कोई ब्रेंिकग न्यूज नहीं बल्कि हर दिन और हर पल की खबर है।
देश भर में भीषण गर्मी के बीच भयंकर बिजली कटौती से हाहाकार मचा हुआ है। एक चौथाई से ज्यादा बिजली संयंत्र बंद पड़े हैं और 700 से अधिक ट्रेनें रद्द हैं। ये कैसी नई अप्रोच” है? पार्टी प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने संवाददाताओं से कहा, सबको पता है कि गर्मी आने वाली है और बिजली की मांग बढ़ेगी। ऐसे में सवाल है कि पहले सरकार की तैयारी थी? कोयले की आपूर्ति को लेकर उसने क्या तैयारी कर रखी थी?
उन्होंने यह भी कहा, यह सरकार अपनी नाकामी का ठीकरा राज्यों पर फोड़ती है। आॅक्सीजन की कमी के लिए राज्य जिम्मेदार हैं, पेट्रोल-डीजल के दाम के बढ़ने के लिए राज्य जिम्मेदार हैं, कोयले की आपूर्ति नहीं होने के लिए राज्य जिम्मेदार हैं। अगर सब चीजों के लिए राज्य जिम्मेदार हैं तो फिर केंद्र सरकार झुनझुना बजाने के लिए है? सुप्रिया ने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार के पास कोई तैयारी नहीं थी, इसलिए यह बिजली संकट पैदा हुआ है।