बांग्लादेश में हिंदुओं पर कट्टरपंथियों का आतंक, 70 से 80 घरों में की तोड़फोड़

ढाका। बांग्लादेश में सुनामगंज के शल्ला उपजिला स्थित हिंदुओं के गांव नौंगांव में कट्टरपंथियों के समर्थक बुधवार को बड़ी संख्या में हथियारों से लैस होकर पहुंचे और हमला शुरू कर दिया। इस हमले के दौरान गांव के 70 से 80 घरों में तोड़फोड़ की गई। यह हमला इसलिए किया गया क्योंकि गांव के एक युवक ने बंगबंधु शेख मुजीबर रहमान की प्रतिमा लगाने का विरोध करने पर मौलाना के भाषण की आलोचना की थी।
दरअसल, हिफाजत-ए-इस्लाम के कट्टरपंथी समर्थक इस गुट के संयुक्त सचिव मौलाना मुफ्ती मामून-उल-हक और गुट के सदस्य अल्लामा जुनैद बाबुनगरी के भाषण की आलोचना से नाराज थे। हिंदू युवक ने फेसबुक पर सोमवार को हुए इस भाषण की निंदा की जिसका विरोध मंगलवार से ही शुरू हो गया था।
प्रदर्शनकारियों का आरोप था कि सोशल मीडिया पर धार्मिक भावनाओं को भड़काया गया है। बुधवार को हिफाजत-ए-इस्लाम के समर्थक नचनी, चांदीपुर और काशीपुर समेत अन्य मुस्लिम बहुल गांव से एकत्रित होकर नौगांव पहुंचे और हिंदुओं के घरों पर हमला बोल दिया। ढाका ट्रिब्यून के मुताबिक, इस मामले को काबू में करने के लिए पुलिस ने एक युवक को पहले ही गिरफ्तार कर लिया था, लेकिन ऐहतियात के तौर पर यहां गुरुवार को भी बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात रहा।
कई घरों को लूटा भी गया
हबीबपुर यूनियन के चेयरमैन विवेकानंद मजूमदार बकुल ने कहा कि गांव के कई घरों पर हमला हुआ है। हमले के डर से कई हिंदू अपनी जान बचाने के लिए घर छोड़कर पहले ही चले गए थे। इस अवसर का लाभ उठाते हुए हिफाजत के लोगों ने गांव पर हमला किया और कई घरों को लूट लिया, लेकिन गांव के लोग अभी भी भयभीत हैं।
ज्यादातर लोग घर लौटे
शल्ला पुलिस स्टेशन के अधिकारी नजमूल हक ने कहा कि एक युवक को गिरफ्तार किया गया है। अब मामला शांत है और उपजिला चेयरमैन अल अमीन तथा अन्य प्रतिनिधियों ने इस पूरे मामले में मध्यस्थता की। हक ने कहा कि इस इलाके से भागे ज्यादातर लोग अपने घर लौट आए हैं। लेकिन तनाव अब भी फैला हुआ है, जिसके चलते बड़ी तादात में सुरक्षा बल तैनात किया गया है।