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उद्धव पर पटोले का पलटवार: कहा- हमने गठबंधन भाजपा को रोकने के लिए किया, स्थाई नहीं

ताजा खबर: मुंबई। महाराष्ट्र में शिवसेना-राकांपा (Shivsena-NCP) और कांग्रेस (Congress) के गठबंधन से बनी सरकार में अब दरार पड़ती नजर आ रही है। मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) के बयान पर कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष नाना पटोले (Nana Patole) ने पलटवार करते हुए कहा है कि महा विकास आघाड़ी सरकार (Maha Vikas Aghadi Govt.) का गठबंधन सिर्फ पांच साल के लिए हुआ है, यह कोई स्थाई गठबंधन नहीं है। ज्ञात हो कि कल शनिवार को मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कहा था कि गठबंधन लोगों की समस्याओं के समाधान के लिए हुआ। अकेले चुनाव लड़ने की बात करने वालों को जनता चप्पल से पीटेगी (will beat with slipper) । उद्धव ने यह भी पार्टियों को अपनी महत्वाकांक्षा को परे रखकर जनता की सेवा और अर्थव्यवस्था (Economy) पर ध्यान देना चाहिए।

पटोले ने यहां पत्रकारों से कहा कि ठाकरे के बयान में स्पष्टता नहीं है कि वह किसके बारे में बात कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि यहां तक कि भाजपा भी अकेले चुनाव लड़ने की बात करती है। उन्होंने कहा कि चारों पार्टियां शिवसेना, कांग्रेस, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) और भाजपा ने विधानसभा चुनाव (Assembly elections) अकेले ही लड़ा था। पटोले ने कहा कि हमने 2019 में पांच साल के लिए महा विकास आघाड़ी (MVA) सरकार का गठन भाजपा को रोकने के लिए किया था। यह कोई स्थायी गठजोड़ नहीं है। हर पार्टी को अपने संगठन को मजबूत करने का अधिकार है और कांग्रेस ने कई जगहों पर कोविड-19 (Covid-19) प्रभावित लोगों को खून, आॅक्सीजन और प्लाज्मा उपलब्ध कराकर हमेशा राहत मुहैया कराने को प्राथमिकता दी है। पटोले ने कहा कि ठाकरे ने उक्त टिप्पणी शिवसेना के 55वें स्थापना दिवस पर पार्टी अध्यक्ष के तौर पर दी थी न कि मुख्यमंत्री के तौर पर दी।





शिवसेना और कांग्रेस दशकों से धुर विरोधी दल रहे हैं लेकिन 2019 में उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली पार्टी के भाजपा (BJP) से अलग होने के बाद दोनों दलों ने राकांपा के साथ मिलकर महाराष्ट्र में सरकार बनायी। बहरहाल शिवसेना के राज्यसभा सदस्य संजय राउत (Sanjay Raut) ने रविवार को कहा कि उनकी पार्टी ने महराष्ट्र के गौरव और पार्टी की मजबूती के लिए हमेशा सभी लड़ाइयां अकेले दम पर ही लड़ी हैं।

उन्होंने कहा शिवसेना का आगे का रास्ता साफ है। बाकी नेता असमंजस की स्थिति से बाहर निकलें क्योंकि किसी पार्टी का एक नेता अकेले लड़ने की बात करता है तो उसी पार्टी का दूसरा नेता कहता है कि यह हमारी पार्टी का रुख नहीं है। राउत कांग्रेस नेता एच के पाटिल () के बयान की ओर इशारा कर रहे थे जिन्होंने शनिवार को एक कार्यक्रम में कहा कि राज्य कांग्रेस को पार्टी को मजबूत करने पर ध्यान देना चाहिए और चुनाव अकेले लड़ने के बारे में फैसला आला कमान को करना है।

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