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बड़ा झटका: उत्तराखंड में कांग्रेस ने भाजपा में लगाई सेंध, परिवहन मंत्री ने बेटे के साथ थामा ‘हाथ’

देहरादून। उत्तराखंड (Uttarakhand) में कुछ महीनों बाद विधानसभा चुनाव (Assembly elections) होना है। इससे पहले आज भाजपा को बड़ा झटका लगा है। भाजपा सरकार (BJP government) में परिवहन मंत्री रहे यशपाल आर्य (Yashpal Arya) और उनके बेटे और नैनीताल से विधायक संजीव आर्य (MLA Sanjeev Arya) कमल ने को छोड़कर कांग्रेस का हाथ थाम लिया है। इन दोनों नेताओं ने राज्य के पूर्व कांग्रेसी मुख्यमंत्री हरीश रावत (Harish rawat), प्रदेश प्रभारी देवेन्द्र यादव (Devendra yadav), कांग्रेस प्रदेश कमेटी के प्रदेश अध्यक्ष गणेश गोदियाल (Ganesh Godiyal) सहित राष्ट्रीय महामंत्री-संगठन केसी वेणुगोपाल (KC Venugopal), राष्ट्रीय प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला (Randeep Surjewala) की मौजदूगी में कांग्रेस की सदस्यता ली। का दामन थाम लिया।

बता दें कि इन दोनों नेताओं ने पिछले विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को छोड़कर भाजपा में शामिल हुए थे। जिसके बाद भाजपा ने दोनों को विधानसभा चुनाव में मैदान में उतारा था और दोनों नेताओं ने अपनी-अपनी सीट पर जीत दर्ज की थी। इसके बाद भाजपा सरकार ने यशपाल आर्य को कैबिनेट मंत्री बनाया। लेकि, विधानसभा चुनाव-2022 से पहले ही एक बार फिर यशपाल और संजीव ने कांग्रेस का दामन थाम लिया यशपाल आर्य बाजपुर और उनके बेटे संजीव आर्य नैनीताल सीट से विधायक हैं। वहीं यशपाल आर्य पुष्कर सिंह धामी सरकार (Pushkar Singh Dhami Govt.) में मंत्री थे और उनके पास छह विभाग थे। जिसमें परिवहन, समाज कल्याण, अल्पसंख्यक कल्याण, छात्र कल्याण, निर्वाचन और आबकारी विभाग शामिल थे।





धामी लगाया यह आरोप
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने यशपाल आर्य के कांग्रेस में शामिल होने पर कहा कि भाजपा में देश पहले और पार्टी दूसरे स्थान पर है। जबकि व्यक्तिगत हित अंतिम स्थान पर है। धामी ने कहा कि वह समझते हैं कि यशपाल आर्य का व्यक्तिगत हित आगे आ गया था।

भाजपा पहले ही लगा चुकी है सेंध
आपको बता दें कि इससे पहले भाजपा ने कांग्रेस में सेंध लगाई थी। विगत दिनों पुरोला से कांग्रेस विधायक राजकुमार ने नई दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में भाजपा का दामन लिया था। राजकुमार 2007 में सहसपुर सीट से भाजपा के टिकट पर विधायक बने थे। 2012 में निर्दलीय चुनाव लड़े लेकिन उनको हार का मुंह देखना पड़ा था। इस चुनाव में भाजपा प्रत्याशी मालचंद ने राजकुमार को हराया था और वह दूसरे नंबर पर रहे थे। लेकि, 2017 में हुए विधानसभा चुनाव में राजकुमार कांग्रेस के टिकट पर पुरोला सीट से चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचे थे।

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